आग्नेय की रचनाएँ
आखेट तुम उस परिन्दे की तरह कब तक डैने फड़फड़ाओगे जिसकी गर्दन पर रखा हुआ है चाहत का चाकू उड़ान भरने से पहले ही तुमने… Read More »आग्नेय की रचनाएँ
आखेट तुम उस परिन्दे की तरह कब तक डैने फड़फड़ाओगे जिसकी गर्दन पर रखा हुआ है चाहत का चाकू उड़ान भरने से पहले ही तुमने… Read More »आग्नेय की रचनाएँ