तिलोक चंद ‘महरूम’की रचनाएँ
दस्त-ए-ख़िरद से पर्दा-कुशाई न हो सकी दस्त-ए-ख़िरद से पर्दा-कुशाई न हो सकी हुस्न-ए-अज़ल की जलवा-नुमाई न हो सकी रंग-ए-बहार दे न सके ख़ार-ज़ार को दस्त-ए-जुनूँ… Read More »तिलोक चंद ‘महरूम’की रचनाएँ
दस्त-ए-ख़िरद से पर्दा-कुशाई न हो सकी दस्त-ए-ख़िरद से पर्दा-कुशाई न हो सकी हुस्न-ए-अज़ल की जलवा-नुमाई न हो सकी रंग-ए-बहार दे न सके ख़ार-ज़ार को दस्त-ए-जुनूँ… Read More »तिलोक चंद ‘महरूम’की रचनाएँ
एक अश्किया एक अश्किया[1], ख़ब्ती और उन्मादी आदमी अभी-अभी गया है सघन काली नींद के गर्त में गर्त से ही नर्क का रास्ता खोज लिया… Read More »तिथि दानी ढोबले की रचनाएँ
ख़ुश्क ज़ख़्मों को कुरेदा जाएगा ख़ुश्क ज़ख़्मों को कुरेदा जाएगा दश्त में दरिया को ढूँढा जाएगा याद-ए-माज़ी इक तिलिस्मी ग़ार है मुड़ के जो देखेगा… Read More »ताहिर वारसी की रचनाएँ
आँखों में कैसा पानी बंद है क्यूँ आवाज़ आँखों में कैसा पानी बंद है क्यूँ आवाज़ अपने दिल से पूछो जानाँ मेरी चुप का राज़… Read More »ताहिर अदीम की रचनाएँ
बहुत मुश्किल था मुझ को राह का हमवार कर देना बहुत मुश्किल था मुझ को राह का हमवार कर देना तो मैं ने तय किया… Read More »तालीफ़ हैदर की रचनाएँ
मेरा वेतन मेरा वेतन ऐसे रानी जैसे गरम तवे पे पानी एक कसैली कैंटीन से थकन उदासी का नाता है वेतन के दिन सा ही… Read More »ताराप्रकाश जोशी की रचनाएँ
जो कह न सकूँ मैं तुमसे जो कह न सकूँ मैं तुमसे, उसको चित्रित कर दोगे? ओ चित्रकार क्या मुझको, ऐसी छवि दिखला दोगे? चिर… Read More »तारादेवी पांडेय की रचनाएँ
किरन के नाम सुबह-सुबह को भेंट गई शाम की चुभन, उस किरन के नाम कोई पत्र तो लिखो। खुली जो आंख तो लगा कि रूप… Read More »तारादत्त निर्विरोध की रचनाएँ
अगर फूल-काँटे में फरक हम समझते अगर फूल-काँटे में फर्क हम समझते बेवफा तुमसे मुहब्बत न हम करते जो मालूम होता अन्जामे-उल्फत यूँ उल्फत से… Read More »तारा सिंह की रचनाएँ
जब की मैने बात अमन की जब की मैने बात अमन की रख ली उसने लाज़़ वचन की उथली-गहरी हर रंगों की झील बनी है… Read More »तारकेश्वरी तरु ‘सुधि’ की रचनाएँ