वाजिद की रचनाएँ
पद कहियो जाय सलाम हमारी राम कूँ।नैण रहे झड लाय तुम्हारे नाम कूँ॥ कमल गया कुमलाय कल्याँ भी जायसी।हरि हाँ, ‘वाजिद’, इस बाडी में बहुरि… Read More »वाजिद की रचनाएँ
पद कहियो जाय सलाम हमारी राम कूँ।नैण रहे झड लाय तुम्हारे नाम कूँ॥ कमल गया कुमलाय कल्याँ भी जायसी।हरि हाँ, ‘वाजिद’, इस बाडी में बहुरि… Read More »वाजिद की रचनाएँ
फलक ने रंज तीर आह से मेरे ज़ि-बस खेंचा फलक ने रंज तीर आह से मेरे ज़ि-बस खेंचा लबों तक दिल से शब नाले को… Read More »ख़ान-ए-आरज़ू सिराजुद्दीन अली की रचनाएँ
नश्शा-ए-मय के सिवा कितने नशे और भी हैं नश्शा-ए-मय के सिवा कितने नशे और भी हैं कुछ बहाने मेरे जीने के लिए और भी हैं… Read More »खलीलुर्रहमान आज़मी की रचनाएँ
वे लेखक नहीं हैं वे लिखते हैं लेकिन कागज पर नहीं वे लिखते हैं धरती पर वे लिखते हैं लेकिन कलम से नहीं वे लिखते… Read More »खगेंद्र ठाकुर की रचनाएँ
गर्मियाँ शोखियाँ किस शान से हम गर्मियाँ शोख़ियाँ किस शान से हम देखते हैं क्या ही नादानियाँ नादान से हम देखते हैं ग़ैर से बोसा-ज़नी… Read More »वाजिद अली शाह की रचनाएँ
पता नहीं क्या था मेरा, तुम्हारे पास आना तीर-बिंधे हंस का सिद्धार्थ के पास आना था; तुम्हारा मुझे देवव्रतों को सौंप देना पता नहीं क्या… Read More »क्रांति की रचनाएँ
कैसी होगी मेरी पहली रचना रोज सुनूँ मैं अच्छी अच्छी बातें, मिलती थी नवचिंतन की सौगातें। मधुर मिलन की या पखेरु सा होना, कैसी होगी… Read More »कौशलेन्द्र शर्मा ‘अभिलाष’ की रचनाएँ
शिकार विषादयुक्त चेहरे चेहरों पर चढ़े मुखौटे टँगे हैं जैसे खूँटी पर एक दो तीन चार… गिनती में शायद वे दस हैं तलाशते हुए कोई… Read More »वाज़दा ख़ान की रचनाएँ
वह छुअन अनेकों ही छवि-चित्र लय और गीत, कथा-कहानी, समायी हैं चहुँ ओर। जतन जुटाते हैं लाखों पकड़ने को अपनी-अपनी विध से। पकड़ में तो… Read More »कौशल्या गुप्ता की रचनाएँ
नई शुरुआत यह कविता मई 1974 की रेल हड़ताल के दौरान लिखी गई थी दादी सुना नहीं तुमने बाबूजी हड़ताल पर हैं कन्धे पर यूनियन… Read More »कौशल किशोर की रचनाएँ