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आधुनिक काल

‘रविश’ सिद्दीक़ी की रचनाएँ

बादा ए गुल को सब अंदोह रूबा कहते हैं बादा ए गुल को सब अंदोह रूबा कहते हैं अश्क ए गुल रंग में ढल जाए… Read More »‘रविश’ सिद्दीक़ी की रचनाएँ

रविन्द्र जैन की रचनाएँ

अँखियों के झरोखों से अँखियों के झरोखों से, मैने देखा जो सांवरे तुम दूर नज़र आए, बड़ी दूर नज़र आए बंद करके झरोखों को, ज़रा… Read More »रविन्द्र जैन की रचनाएँ

रविकान्त की रचनाएँ

प्रेम-1 प्रेम का मतलब है तुम्हारे साथ रहना प्रेम-2 तुम मुझे माफ़ नहीं करतीं पर सारे अपमान पी कर भी मैं तुम्हें मना लेता हूँ।… Read More »रविकान्त की रचनाएँ

रविकांत अनमोल की रचनाएँ

किसी की सोच है बेटे को सिंहासन दिलाना है उसे मस्जिद बनानी है इसे मंदिर बनाना है मुझे बस एक चिंता,कैसे अपना घर चलाना है… Read More »रविकांत अनमोल की रचनाएँ

रविंदर कुमार सोनी की रचनाएँ

सुकूँ से आशना अब तक दिल ए इनसाँ नहीं है  सुकूँ से आशना अब तक दिल ए इनसाँ नहीं है कहूँ क्यूँ कर कि अहसास… Read More »रविंदर कुमार सोनी की रचनाएँ

रवि सिन्हा की रचनाएँ

अब उस फ़लक पे चान्द सजाता है कोई और अब उस फ़लक[1] पे चान्द सजाता है कोई और उनके शहर के नाज़ उठाता है कोई और… Read More »रवि सिन्हा की रचनाएँ

रवि प्रकाश की रचनाएँ

प्रेम करने से पहले मैं चाहूँगा, मेरे प्रेम करने से पहले नदियाँ अनवरत हो जाएँ और पत्थरों से टकराने का सिलसिला थम जाये ! डूब जाने… Read More »रवि प्रकाश की रचनाएँ

रवि ज़िया की रचनाएँ

जब लफ़्ज़ थक गए तो सहारा नहीं दिया जब लफ़्ज़ थक गए तो सहारा नहीं दिया ख़ामोशियों ने साथ हमारा नहीं दिया। यूँ तो फ़लक… Read More »रवि ज़िया की रचनाएँ

रवि कुमार की रचनाएँ

मैं जाग रहा होता हूँ रात रात जबकि सभी लगे हैं इमारतों की उधेड़बुन में मैं एक बुत तराश रहा हूँ जबकि कांटों की बाड़… Read More »रवि कुमार की रचनाएँ

रम्ज़ी’ असीम की रचनाएँ

दश्‍त की प्यास किसी तौर बुझाई जाती दश्‍त की प्यास किसी तौर बुझाई जाती कोई तस्वीर ही पानी की दिखाई जाती एक दरिया चला आया… Read More »रम्ज़ी’ असीम की रचनाएँ