अज्ञात रचनाकार की रचनाएँ
चंदा मामा, आरे आवा चंदा मामा, आरे आवा, पारे आवा, नदिया किनारे आवा, सोने के कटोरवा में दूध-भात ले के आवा। बबुआ के मुंह में… Read More »अज्ञात रचनाकार की रचनाएँ
चंदा मामा, आरे आवा चंदा मामा, आरे आवा, पारे आवा, नदिया किनारे आवा, सोने के कटोरवा में दूध-भात ले के आवा। बबुआ के मुंह में… Read More »अज्ञात रचनाकार की रचनाएँ
न्हातई न्हात तिहारेई स्याम कलिन्दजा स्याम भई बहुतै है न्हातई न्हात तिहारेई स्याम कलिन्दजा स्याम भई बहुतै है । धोखेहु धोये हौँ यामे कहूँ तो… Read More »अज्ञात कवि की रचनाएँ
मेरा गाँव गज़ा पट्टी में सो रहा था वह आकाश की ओर देखती थी गाँव की छत पर लेटी एक छोटी बच्ची दो हरी पत्तियों… Read More »अजेय की रचनाएँ
जीवन के रेतीले तट पर जीवन के रेतीले तट पर मैं आंधी तूफ़ान लिए हूँ। अंतर में गुमनाम पीर है, गहरे तम से भी गहरी… Read More »अजीत सुखदेव की रचनाएँ
दिलों की उक़दा-कुशाई का वक़्त है के नहीं दिलों की उक़दा-कुशाई का वक़्त है के नहीं ये आदमी की ख़ुदाई का वक़्त है के नहीं… Read More »‘अज़ीज़’ हामिद मदनी की रचनाएँ
आख़िर-ए-शब वो तेरी अँगड़ाई आख़िर-ए-शब वो तेरी अँगड़ाई कहकशाँ भी फलक पे शरमाई आप ने जब तवज्जोह फ़रमाई गुलशन-ए-ज़ीस्त में बहार आई दास्ताँ जब भी… Read More »‘अज़ीज़’ वारसी की रचनाएँ
शेर-1 (1) हिफाजत करने वाले खिरमनों1 के मुतमईन2 बैठें, तजल्ली3 बर्क4 की महदूद5 मेरे आशियाँ तक है। (2) सुरूरे-शब6 की नहीं सुबह का खुमार7 हूँ मैं, निकल चुकी है जो गुलशन से… Read More »अज़ीज़ लखनवी की रचनाएँ
आँखों के ग़म-कदों में उजाले आँखों के ग़म-कदों में उजाले हुए तो हैं बुनियाद एक ख़्वाब की डाले हुए तो हैं तलवार गिर गई है… Read More »अज़ीज़ ‘नबील’ की रचनाएँ
हैयूला मह ओ साल के ताने बाने को ज़र्रीं शुआओं की गुल-कारियाँ मेरी नज़रों ने बख़्शी हैं आफ़ाक़ के ख़द्द-ओ-ख़ाल-ए-बहार-आफ़रीं में मिरे ख़ूँ की सौग़ात… Read More »अज़ीज़ तमन्नाई की रचनाएँ
अल्फ़-लैला की आख़िरी सुब्ह फ़साना कैसे बढ़े न कोई साहिर-ए-पज़मुर्दा सिन न सौदागर न चीन से कोई आए न बाख़्तर से कोई बलख़ के शहर… Read More »अज़ीज़ क़ैसी की रचनाएँ