अहमद फ़राज़ की रचनाएँ
अच्छा था अगर ज़ख्म न भरते कोई दिन और अच्छा था अगर ज़ख्म न भरते कोई दिन और उस कू-ए-मलामत में गुजरते कोई दिन और… Read More »अहमद फ़राज़ की रचनाएँ
अच्छा था अगर ज़ख्म न भरते कोई दिन और अच्छा था अगर ज़ख्म न भरते कोई दिन और उस कू-ए-मलामत में गुजरते कोई दिन और… Read More »अहमद फ़राज़ की रचनाएँ