एन. आर. सागर की रचनाएँ
तब तुम्हें कैसा लगेगा? यदि तुम्हें ज्ञान के आलोक से दूर अनपढ़-मूर्ख बनाकर रखा जाए, धन-सम्पति से कर दिया जाए- वंचित छीन लिए जाएँ अस्त्र-शस्त्र… Read More »एन. आर. सागर की रचनाएँ
तब तुम्हें कैसा लगेगा? यदि तुम्हें ज्ञान के आलोक से दूर अनपढ़-मूर्ख बनाकर रखा जाए, धन-सम्पति से कर दिया जाए- वंचित छीन लिए जाएँ अस्त्र-शस्त्र… Read More »एन. आर. सागर की रचनाएँ