हरिपाल त्यागी की रचनाएँ
संस्कृति एक दिन/अचानक पान की गिलौरी मुंह में दबाए/धोती-कुरते में मूर्तिमान हो उठी/भारतीय संस्कृति मैंने उसे सामने से देखा लेकिन- लेकिन हाय! मुझे उसकी पीठ… Read More »हरिपाल त्यागी की रचनाएँ
संस्कृति एक दिन/अचानक पान की गिलौरी मुंह में दबाए/धोती-कुरते में मूर्तिमान हो उठी/भारतीय संस्कृति मैंने उसे सामने से देखा लेकिन- लेकिन हाय! मुझे उसकी पीठ… Read More »हरिपाल त्यागी की रचनाएँ