फ़ातिमा हसन की रचनाएँ
बिखर रहे थे हर इक सम्त काएनात के रंग बिखर रहे थे हर इक सम्त काएनात के रंग मगर ये आँख कि जो ढूँढती थी… Read More »फ़ातिमा हसन की रचनाएँ
बिखर रहे थे हर इक सम्त काएनात के रंग बिखर रहे थे हर इक सम्त काएनात के रंग मगर ये आँख कि जो ढूँढती थी… Read More »फ़ातिमा हसन की रचनाएँ
गुज़रती है जो दिल पर वो कहानी याद रखता हूँ गुज़रती है जो दिल पर वो कहानी याद रखता हूँ मैं हर गुल-रंग चेहरे… Read More »फ़ाज़िल जमीली की रचनाएँ
बे-सबब हम से जुदाई न करो बे-सबब हम से जुदाई न करो मुझ से आशिक़ से बुराई न करो ख़ाकसाराँ को न करिए पामाल जग… Read More »फ़ाएज़ देहलवी की रचनाएँ
चश्म-ए-हैरत को तअल्लुक़ की फ़ज़ा तक ले गया चश्म-ए-हैरत को तअल्लुक़ की फ़ज़ा तक ले गया कोई ख्वाबों से मुझे दश्त-ए-बला तक ले गया टूटती… Read More »फ़सीह अकमल
गली में ज़र्फ़ से बढ़ का मिला मुझे गली में ज़र्फ़ से बढ़ का मिला मुझे इक प्याला-ए-जुस्तुजू थी समुंदर मिला मुझे मैं चल पड़ा… Read More »फ़व्वाद अहमद की रचनाएँ
For My Daughter Looking into my daughter’s eyes I read Beneath the innocence of morning flesh Concealed, hintings of death she does not heed. Coldest… Read More »BY WELDON KEES
The Envoy of Mr. Cogito TRANSLATED BY BOGDANA CARPENTER Go where those others went to the dark boundary for the golden fleece of nothingness your… Read More »BY ZBIGNIEW HERBERT
बीते लम्हे कशीद करती हूँ बीते लम्हे कशीद करती हूँ इस तरह जश्न-ए-ईद करती हूँ जब भी जाती हूँ शहर-ए-शीशागराँ कुछ मनाज़िर ख़रीद करती हूँ… Read More »फ़र्रुख़ ज़ोहरा गीलानी की रचनाएँ
मेरा ईश्वर मेरा और मेरे ईश्वर का जन्म एक साथ हुआ था । हम घरौन्दे बनाते थे, रेत में हम सुरंग बनाते थे । वह… Read More »फ़रीद खान की रचनाएँ
हमने समझा था कि बस इक कर्बला है ज़िन्दगी हमने समझा था कि बस इक कर्बला है ज़िन्दगी कर्बलाओं का मुसलसल सिलसिला है ज़िन्दगी एक… Read More »फ़रीद क़मर की रचनाएँ